उत्तराखंड

उपवास पर पूर्व सीएम हरीश रावत, NSUI नेता और SDM झड़प मामले को कांग्रेस ने बनाया मुद्दा

Gulabi Jagat
22 Aug 2022 8:06 AM GMT
उपवास पर पूर्व सीएम हरीश रावत, NSUI नेता और SDM झड़प मामले को कांग्रेस ने बनाया मुद्दा
x
देहरादून: पौड़ी जिले में एसडीएम और युवा कांग्रेस नेता के बीच हुई बहस और अभद्रता के मामले ने (Pauri NSUI leader and SDM clash case) तूल पकड़ लिया है. अब इसके विरोध में पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत देहरादून के गांधी पार्क में महात्मा गांधी की प्रतिमा के पास मौन उपवास (Former CM Harish Rawat sitting on silent fast) पर बैठे हैं. इस घटना के विरोध में हरीश रावत शासन-प्रशासन की सद्बुद्धि के लिए 1 घंटे के सांकेतिक उपवास (Harish Rawat sat on fast at Gandhi Park in Dehradun) पर बैठे हैं.
हरीश रावत के साथ कई समर्थक और पूर्व प्रदेश अध्यक्ष गणेश गोदियाल (Symbolic fast of Ganesh Godiyal) भी सांकेतिक उपवास पर बैठे हुए हैं. बता दें कि शनिवार (20 अगस्त) को कोटद्वार (पौड़ी) में अग्निवीर भर्ती के दौरान सर्टिफिकेट बनवाने को लेकर एसडीएम आकाश जोशी और एनएसयूआई नेता नितिन बिष्ट के बीच जमकर कहासुनी हुई थी. तहसील प्रशासन और एनएसयूआई नेता के बीच मामला इतना गरमा गया कि हाथापाई तक की नौबत आ गई. मामला बढ़ता देख एसडीएम पौड़ी को पुलिस बुलानी पड़ी. इस दौरान एसडीएम ने NSUI नेता को मारने तक की धमकी दी थी. एसडीएम ने सरकारी कार्य में बाधा डालने समेत अन्य मामलों में एनएसयूआई नेता नितिन बिष्ट के खिलाफ नामदज तहरीर दर्ज कराई है.
उपवास पर बैठे हरीश रावत.
उधर, एसडीएम और एनएसयूआई नेता का कहासुनी का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद कांग्रेस भी विरोध में उतर आई है. कांग्रेस ने युवा नेता नितिन बिष्ट के साथ अभद्रता और गाली देने वाले एसडीएम के खिलाफ कार्रवाई ना होने पर इसे मुद्दा बना लिया है. पूरा मामलाः अग्निवीर भर्ती रैली के लिए तहसील प्रशासन द्वारा बनाए जा रहे प्रमाण पत्रों के लिए युवाओं की लंबी कतार लग रही है. गौरतलब है कि पौड़ी जिले की भर्ती आगामी 23, 24 व 25 अगस्त को होनी है. ऐसे में युवाओं को प्रमाण पत्र के लिए तहसील में कई दिनों तक इंतजार करना पड़ रहा है. शनिवार को पौड़ी तहसील क्षेत्र के युवा अपने प्रमाण पत्रों के इंतजार में आधी रात तक तहसील में ही बैठे रहे.
एसडीएम सदर आकाश जोशी के मुताबिक, एनएसयूआई नेता नितिन बिष्ट रात करीब 8 बजे तहसील पहुंचकर बवाल काटने लगे. पहले तो तहसील प्रशासन ने नितिन बिष्ट को समझाने का प्रयास किया, लेकिन आक्रोशित एनएसयूआई नेता कुछ सुनने को तैयार नहीं था. फिर एसडीएम पौड़ी आकाश जोशी ने आकर एनएसयूआई नेता को समझाने के लिए अपने आफिस में ले जाना चाहा. मगर इस बीच एनएसयूआई नेता और एसडीएम के बीच तू-तू मैं-मैं हो गई. इसके लिए एसडीएम के स्टाफ ने बीच बचाव कर दोनों को छुड़ाया. हालांकि, इस पूरे मामले पर हरीश रावत ने सवाल उठाए हैं.
Next Story