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जालोर: राजस्थान के जालोर जिले के सायला थाना इलाके के सुराणा गांव में स्कूल टीचर की पिटाई से हुई दलित छात्र की मौत के बाद से ही माहौल काफी तनावपूर्ण बना हुआ था. वहीं रविवार शाम को खाफी समझाने के बाद परिवार की सहमति के साथ छात्र का अंतिम संस्कार कर दिया गया. जिसके बाद अब माहौल थोड़ा शांत है. हालांकि ऐहतियात के तौर पर सुराणा गांव में अतिरिक्त पुलिस बल तैनात है. वहीं जिले में सोमवार सुबह इंटरनेट बहाल कर दिया गया है.
अधिकारियों ने बताया कि बच्चे के दाह संस्कार से पहले, परिवार के सदस्य और अधिकारी मुआवजे को लेकर बातचीतत कर रहे थे, तभी कुछ बाहरी लोगों ने हस्तक्षेप करने का प्रयास किया और शव को छीनने की कोशिश की, लेकिन पुलिस ने इस प्रयास को नाकाम कर दिया.
छात्र इंद्र का कसूर- पानी के मटके को छू लिया था
जालोर जिले के सुराणा गांव स्थित निजी स्कूल सरस्वती विद्या मंदिर में तीसरी कक्षा के छात्र इंद्र मेघवाल ने पेयजल के मटके को कथित रूप से छू लिया था. जिसके बाद 20 जुलाई को कथित तौर पर उसकी पिटाई की थी और अहमदाबाद के एक अस्पताल में शनिवार को उसकी मौत हो गई. पुलिस ने 40-वर्षीय अध्यापक चैल सिंह को गिरफ्तार कर लिया है और उस पर हत्या और अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति अधिनियम की धाराओं के तहत आरोप लगाए हैं.
सभी राजनीतिक दलों ने वयक्त की तीखी प्रतिक्रिया
इस घटना पर विभिन्न राजनीतिक दलों ने तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त की है. भारतीय जनता पार्टी ने स्कूल के मालिक के खिलाफ कार्रवाई की मांग की, जबकि बहुजन समाज पार्टी की प्रमुख मायावती ने राजस्थान में राष्ट्रपति शासन की मांग की है. कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने भी घटना की निंदा की और कहा कि दोषियों को कड़ी से कड़ी सजा मिलनी चाहिए
मुआवजे का चेक परिवार को सौंपा गया
अधिकारियों ने कहा कि जालोर के जिलाधिकारी निशांत जियान और पुलिस अधीक्षक हर्षवर्धन अग्रवाल की मौजूदगी में बच्चे का उसके गांव में अंतिम संस्कार कर दिया गया. दोनों अधिकारियों ने पीड़ित परिवार के सदस्यों के साथ गांव में उनके घर पर बैठक भी की. एसपी ने कहा, मुख्यमंत्री की घोषणा के तहत पांच लाख रुपये का चेक परिवार को पहले ही दिया जा चुका है. परिवार एससी-एसटी नियमों के तहत और आठ लाख रुपये के मुआवजे का हकदार है. यह राशि अगले सप्ताह परिवार को उपलब्ध करा दी जाएगी.
बाहरी तत्वों ने किया पथराव
पुलिस ने कहा कि कुछ बाहरी लोगों ने परिवार और प्रशासन के बीच बातचीत में हस्तक्षेप की कोशिश की और परिवार को 50 लाख रुपये के मुआवजे और परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी की मांग करने के लिए उकसाया. पुलिस के अनुसार, बाहरी तत्वों ने बच्चे का शव परिवार से छीनने का प्रयास किया. पुलिस ने कहा कि इस दौरान, उन्होंने पुलिस पर पथराव भी शुरू कर दिया, लेकिन जल्द ही उन्हें नियंत्रित कर लिया गया और खदेड़ दिया गया.
अधिकारियों ने बताया कि किसी भी अप्रिय घटना को रोकने के लिए बच्चे के गांव में पर्याप्त पुलिस बल की तैनाती की गई है. इस बीच, बच्चे के पिता और शिक्षक के बीच बातचीत की कथित ऑडियो क्लिप वायरल हो गई है. क्लिप में सुना जा सकता है कि पिता बच्चे की पिटाई करने को लेकर शिकायत कर रहे हैं जबकि शिक्षक उसका इलाज कराने और मुआवजा देने का आश्वासन दे रहा है. एक कथित वीडियो भी वायरल हुआ है, जिसमें बच्चे के पिता देवाराम भीम आर्मी जैसे संगठनों से उनका समर्थन करने की अपील करते नजर आ रहे हैं.
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