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मध्य प्रदेश
मध्य-प्रदेश: भाजपा को लगा जोरदार झटका, यहां चेले ने गुरु को दे दी पटखनी
Kajal Dubey
20 July 2022 4:43 PM GMT
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रीवा नगर निगम वार्ड क्रमांक 21 से निर्दलीय प्रत्याशी संजय खान ने बड़ी जीत हासिल करते हुए अपने ही राजनीतिक गुरु को चुनाव हरा दिया है। उन्होंने भाजपा प्रत्याशी और अपने गुरु नगर सतीश सोनी को 466 वोटों से हराकर यह जीत हासिल की है। सतीश सोनी निगम के अध्यक्ष भी रह चुके हैं।
एक तरफ जहां रीवा में भाजपा को महापौर पद पर हार का सामना करना पड़ा है वहीं कई भाजपा के दिग्गज प्रत्याशी भी चुनाव हार गए हैं। वार्ड संख्या 21 से भाजपा प्रत्याशी सतीश सोनी को हार का मुंह देखना पड़ा है। सतीश सोनी नगर निगम के अध्यक्ष थे और दो बार पार्षदी का चुनाव भी जीता था लेकिन इस बार उन्हें उनके राजनीतिक शिष्य ने ही चुनाव हराकर भाजपा को झटका दे दिया है।
संजय खान ने राजनीति की सीढ़ी सतीश सोनी की ही उंगली पकड़कर चढ़ी है। संजय, सतीश सोनी को अपना राजनीतिक गुरु मानते हैं और राजनीति की बारीकियां उन्हीं से सीखी है। लेकिन इस बार के नगर निगम के चुनाव में उन्होंने अपने ही गुरु को हराकर एक बड़ी जीत हासिल की है और राजनीति में अपने ही गुरु से आगे निकल गए हैं।
दरअसल पिछले चुनाव में संजय खान की पत्नी शबनम बानो ने निर्दलीय प्रत्याशी के रुप में चुनाव जीता था। चुनाव जीतने के बाद शबनम बानो बीजेपी में शामिल हो गई थी। सतीश सोनी पिछला चुनाव वार्ड 29 से जीते थे। लेकिन इस बार वार्ड 29 महिला के लिए आरक्षित था। जिसके चलते सतीश सोनी वार्ड 21 से चुनाव मैदान में थे।
यहां से उनके विरोध में निर्दलीय प्रत्याशी और सतीश सोनी के शिष्य संजय खान भी चुनाव मैदान में उतर गए और अपने गुरु को 466 वोटों से चुनाव हराकर जीत हासिल की। संजय खान को 976 वोट मिले वहीं सतीश सोनी को 510 वोट मिले। सतीश सोनी संजय खान की पत्नी की जीत से पहले एक बार वार्ड 21 से पार्षद का चुनाव जीत चुके थे लेकिन इस बार उन्हे हार का सामना करना पड़ा।
पिछले नगर निगम के चुनाव में संजय खान की पत्नी ने वार्ड 21 से जीत हासिल की थी। इस जीत के बाद से ही लगातार क्षेत्र में वो काफी सक्रिय थीं। यही वजह की वार्ड की जनता का साथ इस बार भी उन्हे ही मिला और उनके पति संजय खान को बड़ी जीत मिली।
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