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जम्मू और कश्मीर
वायु सेना के चार अफसरों की हत्या में शामिल एक और आतंकी पकड़ा
Rani Sahu
15 July 2023 5:24 PM GMT
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जम्मू कश्मीर: कश्मीर में 1990 में दहशतगर्दों द्वारा वायु सेना के चार अधिकारियों की हत्या किए जाने के मामले में मुख्य आरोपियों में से एक आतंकी मोहम्मद रफीक पहलू उर्फ नानाजी को गिरफ्तार किया गया है। जम्मू की स्थानीय अदालत में मामले की सुनवाई के दौरान यह खुलासा हुआ। इसके बाद अदालत ने सुनवाई टाल दी और प्रोडक्शन वारंट जारी कर पहलू को 19 अगस्त को होने वाली अगली सुनवाई पर पेश करने का आदेश दिया।
वायु सेना के चार अधिकारियों की हत्या मामले में जम्मू-कश्मीर लिबरेशन फ्रंट का प्रमुख यासीन मलिक, अली मोहम्मद मीर, मंजूर अहमद सोफी उर्फ मुस्तफा, जावेद अहमद मीर उर्फ नलका, शौकत अहमद बख्शी और जावेद अहमद जरगर के नाम शामिल हैं। इस मामले में जम्मू में टाडा की अदालत में 31 अगस्त 1990 को मलिक और छह लोगों के खिलाफ आरोपपत्र दाखिल किए गए थे।
इस मामले की शुक्रवार को सुनवाई शुरू हुई तो अभियोजन एवं बचाव पक्ष ने अदालत ने बताया कि एक आरोपी नानाजी को श्रीनगर पुलिस ने सोमवार को गिरफ्तार किया है। वह यहां मौजूद नहीं है। केन्द्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) की मुख्य अभियोजक मोनिका कोहली ने कहा कि अभियोजन पक्ष का एक गवाह अदालत में मौजूद है, लेकिन नानाजी के न होने से उसका बयान दर्ज नहीं कर सकते। कोहली ने कहा कि अदालत ने अभियोजन के गवाहों के बयान दर्ज करने के अनुरोध को खारिज कर दिया।
वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से सुनवाई में शामिल हुआ यासीन
यासीन मलिक दिल्ली की तिहाड़ जेल में बंद है और वह वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिए सुनवाई में शामिल हुआ। वहीं अन्य आरोपी अदालत में मौजूद रहे। सीबीआई के अनुसार आतंकवादियों के हमले में वायु सेना के चार अधिकारी मारे गए थे, वहीं एक महिला सहित कई लोग घायल हो गए थे।
जांच के बाद जम्मू में टाडा की अदालत में 31 अगस्त 1990 को मलिक और छह लोगों के खिलाफ आरोपपत्र दाखिल किया गया था। मलिक को राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने अप्रैल 2019 में एक आतंकी फंडिंग मामले में गिरफ्तार किया था, उसके एक महीने बाद उसके समूह पर केंद्र सरकार द्वारा प्रतिबंध लगा दिया गया था।
श्रीनगर में 9 जुलाई को गिरफ्तार किया गया नानाजी
श्रीनगर पुलिस ने 9 जुलाई को एक होटल में जेकेएलएफ के कुछ पूर्व आतंकियों एवं अलगाववादियों की बैठक के बारे में विश्वसनीय जानकारी के आधार पर तलाशी ली थी। वहां से 40 लोगों को हिरासत में लिया था। कोठीबाग पुलिस स्टेशन में उन्हें सत्यापन के लिए लाए जाने के बाद पूछताछ यह सामने आया है कि वे जेकेएलएफ और हुर्रियत को पुनर्जीवित करने की योजना बना रहे थे।
अगले दिन, पुलिस ने नानाजी सहित उनमें से 10 की औपचारिक गिरफ्तारी की घोषणा की और कहा कि कुछ और गिरफ्तारियां होने की संभावना है क्योंकि मामले की जांच चल रही है।
रूबिया सईद मामले में भी तय हो चुके हैं आरोप
विशेष टाडा अदालत ने प्रतिबंधित जम्मू-कश्मीर लिबरेशन फ्रंट (जेकेएलएफ) प्रमुख और कई अन्य लोगों के खिलाफ इस मामले के साथ-साथ जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री मुफ्ती मोहम्मद सईद की बेटी रूबिया सईद के अपहरण से संबंधित एक अन्य मामले में पिछले साल जनवरी में अलग से आरोप तय किए हैं। जेकेएलएफ प्रमुख यासीन मलिक 1989 में हुए रूबिया के अपहरण मामले का भी आरोपी है।
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