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यमुनानगर। विजिलेंस की टीम ने महिला थाने में छापेमारी कर एक महिला एएसआई और सब इंस्पेक्टर को 10 हजार रुपए की रिश्वत के साथ रंगे हाथ गिरफ्तार किया है। आरोप है कि एक व्यक्ति को दुष्कर्म के मामले में फंसाने की धमकी देकर रिश्वत की मांग की जा रही थी। इस शिकायत पर कार्रवाई करते हुए विजिलेंस अधिकारियों ने दोनों भ्रष्टाचारी पुलिस अधिकारियों को काबू करने में कामयाबी हासिल की है।
विजिलेंस शिकायत देकर छछरौली के गांव लेदा खास के रहने वाले सुखराम ने बताया था कि कुछ समय पहले उसके बेटे की शादी यमुनानगर की एक लड़की के साथ हुई थी। शादी के बाद दोनों में अनबन रहने लगी। इसके बाद उसकी पुत्रवधू ने उसके बेटे व अन्य सुसरालियों के खिलाफ 25 जून को महिला थाना में मारपीट, दुष्कर्म व अन्य धाराओं में केस दर्ज कराया था। पुत्रवधू द्वारा उनके खिलाफ झूठा केस दर्ज करवाने के चलते सभी काफी परेशान थे। इसी केस के सिलसिले में वह कई दिनों से महिला थाना में चक्कर काट रहा था। सुखराम का आरोप है कि इस मामले की जांच महिला थाना की एएसआई पूनम कर रही थी। वह धमकी दे रही थी कि उसे भी इस केस में फंसा देगी और बेटे के साथ उसे भी जेल हो जाएगी। इस बात का डर दिखा कर पूनम ने उससे 20 हजार रुपए की डिमांड की मांगे। आर्थिक स्थिति ठीक न होने के कारण वह रुपये देने में असमर्थ था।
उसने इस पूरे मामले की शिकायत विजिलेंस को दी। सुखाराम की शिकायत पर विजिलेंस ने टीम का गठन किया। शिकायतकर्ता रुपए लेकर महिला थाना में पूनम के पास गया। इस पर पूनम ने कहा कि अभी वह व्यस्त है और वह सब इंस्पेक्टर अंग्रेज सिंह को रूपए दे दे। अंग्रेज सिंह ने महिला थाना के शौचालय के पास सुखराम से 10 हजार रुपए लिए। जैसे ही अंग्रेज सिंह ने रुपए लिए तो विजिलेंस ने दबिश देकर उसे रंगे हाथ पकड़ लिया और रुपये बरामद किए। विजिलेंस एएसआई पूनम को भी अपने साथ लेकर गई है।
विजिलेंस इंस्पेक्टर जयपाल का कहना है कि सुखराम ने उन्हें एक रिकॉर्डिंग भी दी है, जिसमें पूनम कह रही है कि उसे एक भी पैसा नहीं चाहिए। हालांकि वह यह भी कह रही है कि थाने की एसएचओ बिना रुपए लिए केस रद्द नहीं करेगी। इसलिए अब महिला थाना की एसएचओ दीपिका की भूमिका भी संदेह के घेरे में आ गई है। इसलिए विजिलेंस एसएचओ की भूमिका को भी लेकर भी जांच करेगी।
Admin4
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