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पटना: बिहार मंत्रिमंडल (Bihar Government) की आज एक महत्वपूर्ण बैठक हुई। बैठक में कई अहम मुद्दों पर बात हुई। इसके साथ ही मंत्रिमंडल की अहम मीटिंग में 8 एजेंडों पर मुहर लगाई गई जिसमें राज्य में बालू के दाम बढ़ाने का फैसला (increase in the price of sand) लिया गया। इसके साथ ही टीचर के बकाया वेतन का भी भुगतान (payment of arrears of salary) करने पर सहमति बनी है। इसके साथ ही वर्ष 2023 के अवकाश कैलेंडर पर भी मुहर (stamp on holiday calendar) लगा दी गई है। इसके अलावा कई और अहम एजेंडों पर मुहर लगाई गई।
2023 के अवकाश कैलेंडर को भी मिली स्वी कृति
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अगुवाई में सत्ता परिवर्तन के बाद ऐसी पहली बैठक हुई। शिक्षकों के बकाया वेतन का भुगतान करने के प्रस्ताव को स्वीकार कर लिया गया। इसके लिए 139.41 करोड़ रुपए का फंड स्वीकृत किया गया है। यह राशि वित्त वर्ष 2022-23 के लिए है। नीतीश के इस फैसले से बिहार के 2,64,620 शिक्षकों को लाभ मिलेगा। इसके साथ ही वर्ष 2023 के अवकाश कैलेंडर को भी स्वीरकृत कर लिया गया है। बिहार सरकार के कार्यालय और नेगोशिएबल इंस्ट्रूडमेंट एक्ट़ की छुट्टी पर कैबिनेट ने मुहर लगा दी है।
बालू का प्रति घन मीटर का रेट दोगुना
आज हुए महत्वपूर्ण बैठक में बिहार सरकार ने बालू के दाम बढ़ाने की बात कहीं है। बिहार सरकार की कैबिनेट मीटिंग में यह फैसला लिया गया है कि प्रति घन मीटर का रेट दोगुना कर दी जाए। पहले रेत का दर 75 रुपये प्रति घन मीटर था, जिसे बढ़ाकर 150 रुपये करने का फैसला किया गया है। नया रेट सोन, फल्गून, किऊल, चानन और मोरहर नदियों के घाटों पर प्रभावी होगा। बाकी नदियों के रेट में किसी तरह का बदलाव नहीं किया गया है। नदियों के रॉयल्टीन रेट में बदलाव किया गया है।
Rani Sahu
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