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बगहा। बगहा पुलिस जिला के गोवर्धन थाना अंतर्गत बलुआ गांव में वाल्मीकि टाईगर रिजर्व के आदमखोर बाघ ने शनिवार को फिर मां और बेटे को अपना शिकार बनाया है।वही इस घटना को लेकर कुल 9 लोग को आदमखोर बाघ ने अब तक अपना शिकार बना लिया है। जानकारी हो कि शनिवार को बाघ के हमले में मृत की पहचान बलुआ गांव के स्व.बहादुर यादव के पत्नी सिमरिकी देवी एवं उनके 12 वर्षीय पुत्र के रूप में हुई है। बताया जा रहा है कि काफी संख्या में ग्रामीण गन्ना के खेत में बाघ को घेरा कर खोज बीन कर रहे है। उल्लेखनीय है कि बाघ के आतंक को देखते हुए वन विभाग के अनुरोध पर एनटीसीए ने बाघ को मारने की अनुमति दी है।जिसके लिए डीएम ने भी वन विभाग से बाघ को मारने के लिए पत्र दिया था। वही शुक्रवार को प्रमंड-एक डीएफओ प्रद्युमन गौरव ने बताया कि बाघ को मारने की आदेश जारी कर दी गई है, पैदल ट्रैकिंग कर उसका लोकेशन पता किया जाएगा फिर उसे या तो पकड़ा जाएगा या फिर मार दिया जायेगा, लेकिन तब तक फिर 2 घटना घटित हो गई।
3 दिन के अंदर आदमखोर बाघ ने 4 की जान ले ली है।जानकारी हो कि 9 माह के भीतर 9 लोग की जान आदमखोर बाघ ने ले ली है।आदमखोर बाघ को मारने की अनुमति मिलने के बाद ये कयास लगाया ही जा रहा था,कि 24 से 48 घंटा के अंदर वन विभाग राहत की खबर सुनायेगी, लेकिन सारे कयास उल्टे हो गए। बाघ को मारने से पहले बाघ और कितनों की जान लेगा, इससे अंदाजा लगाया जा सकता है, जब पूरे 27 दिन से वन विभाग की टीम 400 की संख्या में बाघ को पकड़ने की पूरी कोशिश तो की लेकिन कामयाबी नहीं मिल पाई। इधर बाघ को मरने के लिए बिहार के एसटीएफ की भी तैनाती की गई है। लेकिन बाघ के बार- बार लोकेशन,ठिकाना बदलने से काफी दिक्कतें आ रही है।वही आदमखोर हो चुके बाघ के खौफ से रियायशी इलाके में ग्रामीण दहशत में जी रहे हैं, रात तो रात दिन में लोग दहशत में जी रहें हैं।
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