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पटना (आईएएनएस)| शराबबंदी वाले बिहार में जहरीली शराब पीने से हुई लोगों की मौत को लेकर भाजपा अभी भी आक्रामक है। इस बीच भाजपा के विधान पार्षद और प्रवक्ता संजय मयूख ने राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग (एनसीपीसीआर) के अध्यक्ष से मिलकर एक ज्ञापन सौप इस मामले में अनाथ हुए बच्चों के मदद के लिए बिहार सरकार को निर्देश देने की गुहार लगाई है।
भाजपा राष्ट्रीय मीडिया के सह प्रमुख और प्रवक्ता मयूख ने आयोग को सौंपे ज्ञापन में कहा है बिहार के छपरा, सीवान, गोपालगंज और बेगूसराय में हाल ही में हुए जहरीली शराबकांड में लगभग 75 से अधिक लोगों की मृत्यु हुई है, जबकि मीडिया में सामने आये आंकड़ों के अनुसार मरने वाले लोगों की संख्या 100 से अधिक है।
उन्होंने लगा कि इसमें सबसे अधिक मृत्यु छपरा जिले के मशरक इलाके में हुई है जहां जहरीली शराब पीने से करीब 70 से अधिक लोगों की मौत हुई है।
उन्होंने कहा कि इस घटना में कई गांवों में कई ऐसे परिवार हैं जहां या तो अब सिर्फ महिलाएं बची हैं या कोई बच्चा। उन्होंने कहा कि दर्जनों ऐसे परिवार हैं जिनके घरों में दुधमुंहा बच्चे हैं और उनके सिर पर से कमाने वाले पिता का साया उठ गया है।
उन्होंने कहा कि जहरीली शराबकांड में कई बच्चे अनाथ और असहाय हो गए हैं। ये अधिकतर दिहाड़ी मजदूरी वाले परिवार हैं।
ऐसे में इन बच्चों के जीवन पर भी संकट आ पड़ा है। इनके लिए दो वक्त भोजन जुटाना भी एक बड़ी समस्या बन गई है। इस स्थिति में बिहार की राज्य सरकार ने भी ऐसे बच्चों से मुंह मोड़ लिया है।
आयोग के अध्यक्ष से अनुरोध करते हुए उन्होंने कहा कि आयोग बिहार सरकार को ऐसे बच्चों के भरण-पोषण के लिये इन परिवारों को तत्काल मुआवजा उपलब्ध कराने के निर्देश दे जिससे असहाय हो चुके ये बच्चे जीवन से संघर्ष कर आगे बढ़ सकें।
--आईएएनएस
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