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क्या है वनस्पति और देसी घी में अंतर, जानिए इसके फायदे

Tara Tandi
4 Oct 2022 2:13 PM GMT
क्या है वनस्पति और देसी घी में अंतर, जानिए इसके फायदे
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बचपन में आपने अपने घरों में वनस्पति घी तो जरूर देखा होगा। इसे ज्यादातर लोग डालडा घी के नाम से भी पुकारा करते थे। जबकि डालडा वनस्पति घी का एक लोकप्रिय ब्रांड है। इसे सस्ते घी की तरह ही प्रयोग किया जाने लगा था। घरों में सब्जी-दाल से लेकर मिठाई बनाने के लिए भी इसी का इस्तेमाल होता था, लेकिन सेहत के प्रति जागरुकता बढ़ने के साथ ही रसोई में इसका प्रयोग लगातार कम होता जा रहा है। मेरी मम्मी ने तो पिछले कुछ सालों में इसका इस्तेमाल बिल्कुल बंद कर दिया। मैं जब हलवा या मिठाई बनाने के लिए इसे खरीदने लगी, तो उन्होंने मुझे इसके ढेर सारे स्वास्थ्य जोखिम (vegetable ghee health hazards) गिनवा दिए। क्या वाकई ये सब सच है? मैंने इस पर खंगाली कुछ जरूरी जानकारियां।

पहले खूब हुआ करता था इस सस्ते घी का इस्तेमाल
वनस्पति घी जिसे सस्ता घी कहकर प्रमोट किया जाता था, वह दरअसल, पाम ऑयल से बनता है। यही वजह है कि इसके डिब्बे पर भी ताड़ के झाड़ की तस्वीर होती है। वनस्पति घी में एनिमल फैट नहीं होता। इसलिए इसे हेल्दी ऑप्शन की तरह ही प्रमोट किया जाता था। एक वक़्त था जब घरों में कुकिंग ऑयल के स्थान पर वनस्पति घी (vegetable ghee) ही आया करता था, लेकिन कई लोग ये नहीं जानते थे कि यह बनता कैसे है।
कैसे बनता है वनस्पति घी?
सबसे पहले ताड़ के झाड़ के बीज इकट्ठा किए जाते हैं। फिर इन बीजों को हाई प्रेशर वाली मशीन पर इतना क्रश किया जाता है कि इनमें से तेल निकल जाए। फिर इस तेल को फिल्टर किया जाता है और इसमें विटामिन-ए और विटामिन-ई जैसे तत्व मिलाए जाते हैं और इस फिल्टर प्रोसेस में तेल को कई प्रकार के केमिकल कम्पाउंड के जरिए प्रयोग करने योग्य बनाया जाता है। फिर इसमें वेजिटेबल ऑयल मिलाया जाता है। हाइड्रोजन बॉन्ड, जिसमें बहुत हाई तापमान में मशीनों में प्रोसेस किया जाता है। यही स्टेज होती है जब वेजिटेबल ऑयल वनस्पति घी के रूप में बदल जाता है।
क्या है वनस्पति और देसी घी में अंतर?
दरअसल, वनस्पति घी वेजिटेबल ऑयल (अधिकतर मामलों में पाम ऑयल) का हाइड्रोजेनेटेड फॉर्म होता है। वेजिटेबल ऑयल में दो कार्बन बॉन्ड्स होते हैं और इसमें हाइड्रोजन मिलाया जाता है और हाई टेम्प्रेचर पर इसे घुमाया जाता है। जिससे ये घी जैसी ग्रेनी कंसिस्टेंसी वाला हो जाता है। वनस्पति घी में बहुत ही अधिक मात्रा में ट्रांस फैट होता है।
ऐसा बिलकुल भी नहीं है कि हमें ट्रांस फैट एसिड की जरूरत ही नहीं है। लेकिन वनस्पति तेल में इसकी मात्रा 60 फीसदी से भी ज्यादा होती है, जो कि मीट से भी बहुत ज्यादा है। डेयरी उत्पादों में ट्रांस फैटी एसिड की मात्रा करीब 2 से 5 फीसदी तक ही होती है। इसकी अधिक मात्रा न केवल आपके दिल के लिए नुकसानदायक है, बल्कि यह आपके डायबिटीज के जोखिम को भी बढ़ा सकती है। इसलिए इसे स्वास्थ्य के लिए बहुत अच्छा नहीं माना जाता है।
जबकि देसी घी पाचन को दुरूस्त रखने के साथ ही शरीर की प्रोटीन की आवश्यकताओं को पूरा करने में भी मदद करता है। शुद्ध देसी घी को अपनी रोज़ाना डाइट में शामिल करना स्वास्थ्य के लिए काफी अच्छा माना गया है।
क्या वनस्पति घी स्वास्थ्य के लिए सुरक्षित है?
वर्ल्ड हेल्थ ऑर्गेनाइजेशन के अनुसार, एक इंसान को अपनी डाइट का 1% हिस्सा ही ट्रांस फैट के तौर पर लेना चाहिए। इससे अधिक कार्डियोवस्कुलर परेशानियों की वजह बन सकता है। आस्ट्रेलिया के नेशनल हार्ट फाउंडेशन ( National Heart Foundation of Australia) के एक शोध के मुताबिक, बैड कोलेस्ट्रॉल बढ़ने की मुख्य वजह ट्रांस फैट हो सकता है।
सिर्फ भारत में ही नहीं बल्कि विदेशों में भी ट्रांस फैट्स को 'edible vegetable fat, vegetable oil' के नाम से मेंशन किया जाता है और ये स्वास्थ्य के लिए बिल्कुल अच्छे नहीं होते। यही वजह है कि लोग अब रिफाइंड तेल का इस्तेमाल भी कम कर रहे हैं।
जानिए क्यों सेहत के लिए अच्छा नहीं माना जाता वनस्पति घी
1 दिल की बीमारी का जोखिम
ट्रांस फैट से दिल की बीमारियों का खतरा ज्यादा होता है। वनस्पति घी कॉलेस्ट्रॉल का स्तर तो बढ़ाता ही है, इसके साथ-साथ गुड कॉलेस्ट्रॉल लेवल को भी कम करता है।
2 कमर और पेट के आसपास बढ़ाता है चर्बी
वनस्पति घी में मौजूद ट्रांस फैट से मोटापे का खतरा भी अधिक बढ़ जाता है। ट्रांस फैट आपको दूसरे फूड्स की तुलना में अधिक मोटा करता है। इस कारण से कमर और पेट के आसपास फैट अधिक बढ़ता है।
3 डायबिटीज की परेशानी
ट्रांस फैट के अधिक सेवन से डायबिटीज़ का जोखिम भी ज्यादा बढ़ जाता है। ये फैट इंसुलिन प्रतिरोधन को बढ़ावा देते हैं और टाइप 2 डायबिटीज़ का खतरा भी पैदा करते हैं। आपको बता दें कि कैलोरी के मामले में वनस्पति घी, देसी घी से काफी आगे हैं। एक चम्मच वनस्पति घी में 122.4 कैलोरी होती है। जबकि इतनी ही मात्रा में देसी घी में 85.6 कैलोरी होती है।

न्यूज़ सोर्स: healthshots

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