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- भारतीय किसके भरोसे?
रूस-यूक्रेन युद्ध के दौरान 5-6 घंटे के लिए युद्धविराम हुआ या नहीं अथवा कितनी देर तक हुआ? कितना सार्थक और मानवीय रहा? इसकी सटीक जानकारी हमारे पास नहीं है, क्योंकि हम युद्धक्षेत्र में मौजूद नहीं हैं। जो सूचनाएं छन कर आ रही हैं, वे विरोधाभासी हैं। दोनों देश आरोप लगा रहे हैं कि युद्धविराम के दौरान भी बमबारी और मिसाइल के हमले जारी रहे। यूक्रेन विदेशी नागरिकों को निकलने नहीं दे रहा, बल्कि मानव-ढाल के तौर पर इस्तेमाल कर रहा है। सवाल यह भी हैै कि भारतीय छात्र और अन्य नागरिक रूस की सीमा पर पहुंच कर, रूस के जरिए ही, भारत क्यों नहीं लौट पाए? भारत के प्रधानमंत्री मोदी और रूस के राष्ट्रपति पुतिन के बीच संवाद होने के बाद यह तय हो जाना चाहिए था कि भारतीय नागरिक रूस के जरिए ही वापस जाएंगे। आखिर परस्पर दोस्ती का सवाल है! वैसे भी खारकीव और सुमी में जो छात्र और नागरिक फंसे हुए थे, उनके लिए रूस की सीमा ज्यादा करीब थी। उन्हें 1000 किलोमीटर से ज्यादा का रास्ता, वह भी युद्ध के दौरान, तय कर पोलैंड, हंगरी, रोमानिया की सीमाओं तक क्यों जाना पड़ा?
क्रेडिट बाय दिव्याहिमाचल