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पुणे के पास एक गांव में 45 फुट गहरे कुएं में एक तेंदुआ डूबने वाला था,
जनता से रिश्ता वेबडेस्क | पुणे के पास एक गांव में 45 फुट गहरे कुएं में एक तेंदुआ डूबने वाला था, उसे बचाने के लिए गांव वालों ने चारपाई की मदद ली और उसे कुएं में उतारा गया. बीते शनिवार को एक खुले कुएं के भीतर अचानक गांव वालों को दहशत भरी गूंजती हुई आवाज सुनाई दी. आवाज सुनकर ग्रामीणों को तेंदुए की मौजूदगी की सूचना मिली. जब गांव के लोग वहां पहुंचे, तो उन्होंने देखा कि तेंदुआ पानी में तैरते रहने के लिए संघर्ष कर रहा है और वह जान बचाने के लिए पूरी कोशिश कर रहा है.
तेंदुए को बचाने के लिए गांववालों ने किया ऐसा
चिंतित गांव वालों ने तुरंत महाराष्ट्र वन विभाग और वन्यजीव संरक्षण विभाग (Maharashtra Forest Department and wildlife) को इसकी जानकारी दी. यह इलाका बेल्हे गांव ओटुर वन रेंज के अंतर्गत आता है. ग्रामीणों और वन अधिकारियों ने उसे बचाने के लिए तुरंत आइडिया लगाया. तेंदुए को बचाने के लिए गांव के लोगों ने कुएं में एक चारपाई को उतारा. वाइल्डलाइफ एसओएस के एक बयान में कहा, 'वाइल्डलाइफ एसओएस टीम ने तेंदुए को सुरक्षित निकालने के लिए एक जाल पिंजरे को कुएं में उतारा. तेंदुआ तुरंत पिंजरे में कूद गई और उसे तुरंत, सावधानी से बाहर निकाला गया.'
तेंदुए को मेडिकल के लिए ऑबर्जेवेशन सेंटर ले जाया गया
इसके बाद, तेंदुए को मेडिकल ऑब्जर्वेशन के लिए ऑबर्जेवेशन सेंटर ले जाया गया. पशु चिकित्सा टीम (Veterinary Team) द्वारा फिट घोषित किए जाने पर तेंदुए को सोमवार को उसके प्राकृतिक आवास में छोड़ दिया गया. वन्यजीव एसओएस पशु चिकित्सा अधिकारी डॉ निखिल बांगर ने कहा, 'तेंदुआ लगभग 1.5 साल का था. इस तनावपूर्ण स्थिति से उबरने के दौरान हमने तेंदुए को कड़ी निगरानी में रखा. सौभाग्य से, उसे कोई गंभीर चोट नहीं लगी थी और सुरक्षित रूप से वापस जंगल में छोड़ दिया गया था.'
Teja
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