दिल्ली-एनसीआर

साथियों ने बयां किया हादसे का खौफनाक मंजर, 17वीं मंजिल से गिरे पांच मजदूर

Admin4
3 Aug 2022 10:07 AM GMT
साथियों ने बयां किया हादसे का खौफनाक मंजर, 17वीं मंजिल से गिरे पांच मजदूर
x

न्यूज़क्रेडिट: अमरउजाला 

गुरुग्राम के सेक्टर-77 स्थित निर्माणाधीन पाम हिल्स सोसाइटी की 17वीं मंजिल से गिरकर 4 मजदूरों की मौत हो गई। इस हादसे में एक मजदूर 12वीं मंजिल पर ही अटक गया। इससे उसकी जान बच गई। हालांकि उसे भी काफी चोट आई हैं। हादसा मंगलवार शाम उस वक्त हुआ जब मजदूर बहुमंजिला इमारत में टावर क्रेन सेट कर रहे थे। मृतकों के शव को पुलिस ने कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। घायल मजदूर को इलाज के लिए उमा संजीवनी अस्पताल में भर्ती कराया गया है। सेक्टर-77 स्थित पाम हिल्स सोसाइटी में हुए हादसे में 4 मजदूरों के जान गंवाने के बाद बहुमंजिला इमारतों में सुरक्षा इंतजामों की फिर से पोल खुल गई है। हादसे का आंखों देखा हाल बयां करते हुए मौके पर मौजूद रवि कुमार ने बताया कि मजदूर सुरक्षा इंतजामों को ताक पर रखकर काम करते थे, लेकिन उनको देखने वाला कोई नहीं था। लोगों का कहना था कि महंगे-महंगे ऊंचे फ्लैट बेचने वाले बिल्डर और ठेकेदारों के लिए मजूदरों की जान की कोई कीमत नहीं है।

लोगों ने बताया कि बिल्डर की तरफ से नियुक्त सुपरवाइजर भी यहां कभी-कभी ही आता था। उसे भी मजदूरों की सुरक्षा से कोई मतलब नहीं था। यहां तक कि बिल्डर व उससे जुड़े उच्चाधिकारी भी साइट पर जब निर्माण कार्योंं का निरीक्षण करने आते तो वह मजदूरों की तरफ ध्यान नहीं देते थे।

पाम हिल्स सोसाइटी का निर्माण तो करीब 2010 में शुरू हुआ था, लेकिन जिस इमारत में हादसा हुआ उसका निर्माण 2018 से चल रहा था। हादसे वाली जगह से बमुश्किल 500 मीटर की दूरी पर मौजूद रमेश ने बताया कि वह बिहार के खगाड़ियां से आकर पिछले 10 साल से मजदूरी कर रहा है।

हादसे में जान गंवाने वाले मजदूर बिना सुरक्षा बेल्ट लगाए 17वीं मंजिल के मुहाने पर बैठे थे। सामान नीचे से ऊपर ले जाने के लिए 17वीं मंजिल के सामने क्रेन पर शटरिंग रख रहे थे। इसी दौरान क्रेन के जिस हिस्से में बैठे थे, उसका संतुलन बिगड़ गया और सभी सीधे 17वीं मंजल से नीचे गिर पड़े। हादसे में एक मजदूर तो इमारत की 12वीं मंजिल पर फंस गया, जब कि 4 मजदूर सीधे नीचे आ गिरे। नीचे गिरने वाले सभी चारों मजदूरों की मौके पर ही मौत हो गई।

हादसे के वक्त मौके पर करीब 50 मजदूर काम कर रहे थे, जिसमें से अधिकांश मजदूर इमारत की दूसरी तरफ थे। जबकि करीब 10 मजदूर ही उस तरफ थे, जिस तरफ हादसा हुआ। हादसे के बाद मौके पर चीख-पुकार मच गई, जिसके बाद सभी मजदूर एकत्र हो गए। वहीं, इसकी सूचना मिलते ही पुलिस भी मौके पर पहुंच गई।

मौके पर मौजूद बिहार के किशनगंज निवासी तौकीर ने बताया कि हादसे में जान गंवाने वाला तहमीद शादीशुदा था और वह पिछले करीब पांच साल से गुरुग्राम में रहकर मेहनत-मजदूरी कर जीवनयापन कर रहा था। उसके तीन छोटे-छोटे बच्चे हैं, जिनके सिर से पिता का साया उठ गया। पूरा परिवार बिहार में ही रहता है। उसके घर में सूचना मिलते ही घर में कोहराम मच गया। परिजन सूचना मिलते ही गांव से गुरुग्राम के लिए रवाना हो गए।

किशनगंज के ही निवासी व तहमीद के जानकार तौकीर ने बताया कि जखी अनवर नामक लेबर ठेकेदार के माध्यम से तहमीद व अन्य करीब 50 मजदूर बिहार से गुरुग्राम आए हैं। इसमें से 20 तो किशनगंज के ही हैं। तौकीर ने बताया कि ठेकेदार को भी मजदूरों की सुरक्षा से कोई मतलब नहीं है। वह बिहार से मजदूरों को लाकर गुरुग्राम में छोड़ देते हैं और मुख्य ठेकेदार से अपना कमीशन लेकर चले जाते हैं। उन्होंने बताया कि मजदूरों की समस्या सुनने और समझने वाला कोई नहीं है।



Admin4

Admin4

    Next Story