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नई दिल्ली (आईएएनएस)। सरकार एक ओर जहां अमेरिकी कारोबारी एलन मस्क की टेस्ला का निकट भविष्य में देश में आपूर्ति श्रृंखला पारिस्थितिकी तंत्र स्थापित करने के लिए स्वागत करने की तैयारी कर रही है, वहीं दूसरी तरफ उसने कथित तौर पर देश में एक अरब डॉलर की लगात से ईवी विनिर्माण संयंत्र स्थापित करने की चीन की दिग्गज इलेक्ट्रिक वाहन कंपनी बीवाईडी मोटर्स की योजना खारिज कर दी है।
द इकोनॉमिक टाइम्स की रिपोर्ट के अनुसार, इलेक्ट्रिक कारों और बैटरियों के लिए हैदराबाद स्थित मेघा इंजीनियरिंग एंड इंफ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड (एमईआईएल) के साथ हाथ मिलाने का बीवाईडी का प्रस्ताव स्पष्ट रूप से "सुरक्षा चिंताओं" के कारण बाधित हो गया है।
उद्योग और आंतरिक व्यापार संवर्धन विभाग (डीपीआईआईटी) को दिए अपने प्रस्ताव में बीवाईडी-एमईआईएल ने कथित तौर पर देश में प्रति वर्ष 15,000 इलेक्ट्रिक कारों के निर्माण का प्रस्ताव दिया था।
इस बीच, ओलेक्ट्रा ग्रीनटेक, जो एमईआईएल की एक इकाई है, ने पहले ही बीवाईडी मोटर्स के तकनीकी सहयोग से दो इलेक्ट्रिक बसों का निर्माण किया है।
हालाँकि, सरकार कथित तौर पर चीनी ईवी निर्माता को भारत में निवेश करने की अनुमति देने के लिए उत्सुक नहीं थी।
विडंबना यह है कि भारत में ईवी कार बाजार में बीवाईडी की पहले से ही उल्लेखनीय उपस्थिति है।
बीवाईडी इंडिया प्राइवेट लिमिटेड ने अपने वितरण नेटवर्क को बढ़ाते हुए और जरूरत पड़ने पर उत्पादन क्षमता का विस्तार करते हुए इस साल 15,000 इकाइयों की बिक्री का लक्ष्य रखा।
कंपनी वर्तमान में अपने तमिलनाडु संयंत्र से बहुउद्देश्यीय वाहन (एमपीवी) ई6 मॉडल का उत्पादन करती है। चेन्नई के पास कंपनी के प्लांट की क्षमता प्रति वर्ष 10,000 इकाई वाहन उत्पादन की है।
इस साल जनवरी में, चीनी इलेक्ट्रिक कार निर्माता ने अपनी नई लक्जरी सेडान बीवाईडभ् सील का अनावरण किया, जिसके बारे में उसने कहा कि इसे 2023 की आखिरी तिमाही के दौरान देश में लॉन्च किया जाएगा।
चीनी इलेक्ट्रिक कार निर्माता ने यह भी दावा किया कि बीवाईडी सील की एक बार चार्ज करने पर 700 किमी तक की रेंज है।
बिल्कुल नए ई-6 इलेक्ट्रिक एमपीवी और बीवाईडी एटीटीओ 3 ई-एसयूवी के बाद बीवाईडी सील भारत में यात्री ईवी सेगमेंट के लिए बीवाईडी इंडिया का तीसरा मॉडल ह। इन दोनों मॉडलों की देश में पहले से ही बिक्री हो रही है।
बीवाईडी इंडिया वॉरेन बफे की बर्कशायर हैथवे द्वारा वित्त पोषित चीनी कंपनी BYD ऑटो की पूर्ण स्वामित्व वाली सहायक कंपनी है।
कंपनी के इलेक्ट्रिक यात्री वाहन व्यवसाय के वरिष्ठ उपाध्यक्ष संजय गोपालकृष्णन ने पिछले साल अक्टूबर में आईएएनएस को बताया था, "अगर जरूरत पड़ी तो हम क्षमता का विस्तार करेंगे।"
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