मानसिक अशांति दूर करने के लिए वास्तु टिप्स

किसी भी घर, ऑफिस या कोई भी ऐसी जगह जहां आप अपना ज़्यादातर समय व्यतीत करते हैं

Update: 2023-02-10 13:06 GMT
वास्तु शास्त्र मानता है कि प्रत्येक दिशा पर किसी न किसी देवता का हक है, अधिकार है। ऐसे में किसी भी दिशा में रखी गयी कोई भी सही या गलत वस्तु हमारे जीवन पर नकारात्मक या सकारात्मक असर करती है। जब घर में किसी गलत दिशा में रखी गयी किसी गलत वस्तु से हमारा जीवन नकारात्मक रूप से प्रभावित होने लगता है तो उस स्थिति को वास्तु दोष कहा जाता है।
किसी भी घर, ऑफिस या कोई भी ऐसी जगह जहां आप अपना ज़्यादातर समय व्यतीत करते हैं, में मौजूद वास्तु दोष न सिर्फ आपके जीवन में कठिनाइयाँ पैदा करता है बल्कि इसका नकारात्मक असर आपके मन-मिजाज पर भी होता है जिसकी वजह से आपका स्वभाव चिड़चिड़ा और उग्र हो जाता है, मानसिक तनाव बढ़ता है, काम में मन नहीं लगता है और इसकी वजह से शारीरिक स्वास्थ्य भी बिगड़ने लगता है।
ऐसे में यह बहुत ही जरूरी हो जाता है कि हम और आप अपने घर का वास्तु सही रखें। यही वजह है कि आज हम आपको इस लेख में सात ऐसे वास्तु टिप्स देने वाले हैं जो आपका मानसिक तनाव कम करने में सहायक सिद्ध हो सकते हैं।
मानसिक तनाव कम करने के लिए वास्तु टिप्स
किसी भी घर के मुखिया को हमेशा दक्षिण-पश्चिम दिशा में मौजूद कमरे में ही सोना चाहिए अन्यथा उसका मानसिक तनाव बढ़ता है। सोते वक़्त इस बात का हमेशा ध्यान रखें कि आपका सिर दक्षिण-पूर्व दिशा में दो तो यह आपके लिए बहुत ही बेहतर साबित होगा।
यदि आपके घर में परिवार के सदस्यों के बीच कलह होता रहता है जिससे घर की सुख-शांति भंग हो गयी है और मानसिक तनाव बढ़ गया है तो घर में मौजूद सभी तरह के टूटे-फूटे चीजों को जितना जल्दी हो सके घर से बाहर कर दें। साथ ही घर की रसोई में मौजूद वैसे बर्तन जो टूटे-फूटे हैं उन्हें भी घर से हटा दें। आपको बता दें कि टूटे-फूटे सामान नकारात्मक ऊर्जा का बहुत बड़ा श्रोत माने जाते हैं जिसकी वजह से घर में कलह और मानसिक तनाव होता है।
घर में एक मुख्य आईना जरूर होना चाहिए लेकिन अगर आपके घर में मौजूद मुख्य आईना दक्षिण या पश्चिम दिशा में नहीं रहना चाहिए। इससे मानसिक तनाव बढ़ता है। साथ ही घर में कभी दो आईने आमने-सामने नहीं लगाना चाहिए। इससे नकारात्मक ऊर्जा पैदा होती है। टूटे हुए शीशे में चेहरा देखना भी मानसिक तनाव को बढ़ाने का कारक माना गया है।
घर में मौजूद अविवाहित जातकों का कमरा कभी भी दक्षिण पश्चिम दिशा में नहीं रहना चाहिए। इससे उनके स्वभाव में उग्रता आती है और चिड़चिड़ापन बढ़ जाता है।
कई जातक घर की दीवारों को गंदा होने से बचाने के लिए काफी गहरे रंग से रंगवा देते हैं जो कि वास्तु शास्त्र के नियमों के मुताबिक बिल्कुल ही गलत है। घर की दीवारों को हमेशा हल्के रंगों से ही पेंट करवाएं अन्यथा नकारात्मक ऊर्जा मन-मस्तिष्क पर हावी होने लगती है।
घर में कभी भी भगवान की ऐसी तस्वीर या प्रतिमा न रखें जिसमें वे किसी का विनाश करते या फिर युद्ध की अवस्था में नजर आ रहे हों। साथ ही घर में ऐसी कोई भी तस्वीर नहीं होनी चाहिए जो कि किसी हिंसक व्यवहार को दिखा रही हो। किसी हिंसक जानवर की तस्वीर घर में लगाना वास्तु शास्त्र के नियमों के मुताबिक सही नहीं माना गया है। इन सभी की वजह से मानसिक तनाव बढ़ता है।
पश्चिम की दिशा पर भगवान शनि का अधिकार है जबकि उत्तर दिशा पर मृत्यु के देवता यमराज का। ऐसे में सोते वक़्त पश्चिम दिशा में पैर और उत्तर दिशा में सिर नहीं रहना चाहिए अन्यथा मानसिक तनाव का सामना करना पड़ता है।
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