MIS में 20 करोड़ रुपए बकाया, सरकार ने पैसा जारी करने के दिए आदेश

Update: 2024-06-27 10:48 GMT
Shimla. शिमला। सरकारी एजेंसियों को मंडी मध्यस्थता योजना के तहत अपना सेब देने वाले लगभग 30 हजार बागबानों को पुराना हिसाब चुकता करने के निर्देश हुए हैंं। सरकार ने अपनी एजेंसियों को कहा है कि वह एमआईएस का पैसा जल्द से जल्द चुकता कर दे। माना जा रहा है कि अगले महीने तक बकाया पड़ी 20 करोड़ रुपए की राशि चुकता कर दी जाएगी, जिसके लिए एचपीएमसी ने निर्देश दे दिए हैं। सरकारी एजेंसी एचपीएमसी बागबानों से सेब खरीदती है। सरकार द्वारा तय की गई मंडी मध्यस्थता योजना के अधीन यह सेब खरीदा जाता है, जिसका उपयोग एचपीएमसी विभिन्न तरह के उत्पाद बनाने में करता है। इस सेब की एवज में बागबानों को पैसा चुकता करना होता है, जिसका रेट सरकार द्वारा निर्धारित है। इसी रेट के तहत बागबानों को पिछले साल के सेब
सीजन की राशि अभी चुकता नहीं की गई है।

जो कि 20 करोड़ रुपए के आसपास की बनती है। यह राशि चुकता करने के लिए एचपीएमसी ने प्रक्रिया शुरू कर दी है। एचपीएमसी के अधिकारियों का कहना है कि अगले महीने यह यह पैसा पूरी तरह से रिलीज कर दिया जाएगा। एचपीएमसी द्वारा मंडी मध्यस्थता योजना के तहत सेब की खरीद के लिए विशेष रूप से केंद्र स्थापित किए जाते हैं। पिछली बार भी 300 से ज्यादा केंद्र थे, जिसमें एचपीएमसी के अलावा हिमफेड भी शामिल है। इनके द्वारा सेब खरीद केंद्र बनाए जाते हैं और बागबानों का डी ग्रेड का सेब लिया जाता है। बता दें कि मंडी मध्यस्थता योजना के तहत खरीदे जाने वाले सेब का पैसा बागबानों को जल्दी नहीं मिल पाता है। वर्तमान सरकार ने जल्द से जल्द भुगतान करने को लेकर निर्देश दिए हैं। अब देखना होगा कि कब तक पूरा पैसा चुकता होता है क्योंकि अगले महीने से प्रदेश में सेब सीजन भी शुरू हो जाएगा।
Tags:    

Similar News

-->