उत्तराखंड। उत्तराखण्ड के ज्यूलिकोट स्थित एक निजी स्कूल में पढ़ने वाले छात्र के परिजनों ने स्कूल प्रबंधन और छात्रों पर उनके बच्चे के साथ अभद्रता करना और अप्राकृतिक संबंध बनाने का प्रयास करने का आरोप लगाया है। पुलिस कप्तान से अब पीड़ित ने जांच कर आरोपियों को सजा देने की मांग की है। दिल्ली के करकरडूमा निवासी जय भगवान ने पिछले दिनों एस.एस.पी.पंकज भट्ट से मिलकर शिकायत कर कहा कि उनका नाबालिग पुत्र ज्यूलिकोट के एक स्कूल में पड़ता है। स्कूल के उसके साथ स्कूल में दुर्व्यवहार किया गया। इतना ही नहीं उसके साथ अप्राकृतिक संबंध बनाने का प्रयास भी किया गया। इसका वीरोध करने पर पुत्र के साथ गाली गलौच की गई। जब प्रार्थी और उनकी पत्नी को इस बात की जानकारी मिली तो प्रध्यानाचार्य से वार्ता कर अनुरोध किया कि उनके पुत्र का कमरा बदल दें। उन्होंने स्कूल प्रबंधन से इस तरह की हरकत की पुनरावृत्ति न होने की लिखित पत्र देने के लिए भी कहा। प्रधानाचार्य ने केवल सांत्वना दी।
एक दिन प्रार्थी और उनकी पत्नी जब पुन: अपने पुत्र से मिले तो उसने बताया कि विद्यालय के अध्यापक ने बीती मई में उसके साथ अत्यधिक मारपीट की और उससे ये बात अपने माता-पिता को बताने पर उसे ज्यादा मारने की धमकी दी। ये बात प्रधानाध्यापक को बताने पर उन्होंने इसे नजर अंदाज कर दिया। प्रार्थी अपने पुत्र को 18 जून को दिल्ली वापस ले गया। दिल्ली वापस जाकर पुत्र का इलाज करवाया गया, लेकिन उस घटना के बाद से ही पुत्र भयभीत। प्रार्थी ने इस संबंध में थाना तल्लीताल को अपना रिपोर्ट/शिकायत स्पीड पोस्ट से 15 जुलाई को भेजी लेकिन उसमें कोई कार्यवाही नहीं हुई। तब 5 सितंबर को पुनः तल्लीताल गया। आरोप लगाया कि लंबी मशक्कत के बाद धारा 323, 504 के तहत मुकदमा दर्ज की गई। पुलिस कप्तान से प्रार्थना कर मामले में जांच कर उचित कार्यवाही करने की मांग की गई है।