दूसरे विषय से पीजी के लिए 9 सीजीपीए अनिवार्य, इस बार परास्नातक दाखिले में नौ ऐसे विषय किए गए शामिल

Update: 2023-08-09 13:46 GMT
उत्तरप्रदेश |  इलाहाबाद विश्वविद्यालय एवं संबद्ध कॉलेजों के शैक्षिक सत्र 2023-24 में दूसरे विषय में परास्नातक में दाखिला लेने वालों की राह आसान नहीं होगी. दूसरे विषय से एमए (डबल एमए) करने वाले अभ्यर्थियों को परास्नातक (पहले विषय से एमए) में 9 सीजीपीए (80 फीसदी अंक) अनिवार्य होगा. इससे पहले यह बाध्यता नहीं थी. पीजी में अब अंकों की जगह सीजीपीए ग्रेड प्रदान किए जाते हैं. नई व्यवस्था के तहत दोबारा पीजी करने के इच्छुक उन्हीं अभ्यर्थयों को मौका मिलेगा, जिन्होंने ग्रेड-9 प्राप्त किया है. ग्रेड-9 को अंकों में परिवर्तित करने पर 80 फीसदी से अधिक अंक होते हैं. इसके अलावा अगर वह किसी संस्थान में कार्यरत हैं तो नियोक्ता प्रमाणपत्र देना होगा. लेकिन यह नियम प्रोफेशनल पाठ्यक्रमों के पीजी में नहीं लागू होगा.
इस बार परास्नातक दाखिले में नौ ऐसे विषय किए गए शामिल इलाहाबाद विश्वविवद्यालय में परास्नातक में प्रवेश लेने के इच्छुक उन अभ्यर्थियों के लिए अच्छी खबर है जिन्होंने किसी दूसरे विषयों से स्नातक की परीक्षा उत्तीर्ण की है और परास्नातक किसी अन्य विषय से करना चाहते हैं. अब छात्र पीजीएटी (पोस्ट ग्रेजुएट इंट्रेंस टेस्ट) में समाजशास्त्रत्त् नॉन विषय में चुन सकेंगे. छात्रों को परास्नातक में दाखिले के लिए नौ विषयों (नॉन सब्जेक्ट) का विकल्प मिलेगा.
इविवि एवं इससे संबद्ध कॉलेजों में नए शैक्षिक सत्र 2023-24 में दाखिले के लिए प्रवेश प्रारंभ है. छात्रों को स्नातक के विषयों से इतर नॉन सब्जेक्ट का विकल्प भी दिया गया है. नॉन सब्जेक्ट में प्रवेश के लिए दोनों विषयों में मिले अंक को जोड़कर दो से भाग करने पर जो अंक प्राप्त हो वह नॉन सब्जेक्ट की मेरिट के बराबर अथवा अधिक होने पर ही प्रवेश मिलेगा. परास्नातक में प्रवेश के लिए विभाग की सीटों के सीटों के सापेक्ष तय नॉन सब्जेक्ट के लिए दस फीसदी आरक्षित होंगी. इस बार नॉन सब्जेक्ट में नौ विषय शामिल किए गए हैं. इसमें हिन्दी, अंग्रेजी साहित्य व भाषा, मध्य एवं आधुनिक इतिहास, प्राचीन इतिहास, दर्शनशास्त्रत्त्, राजनीति विज्ञान, मनोविज्ञान, समाजशास्त्रत्त्, अर्थशास्त्रत्त् हैं.
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