पंजाब का वो मशहूर अमरूद जिसकी डिमांड ने राजस्थान में तोड़े सारे रिकॉर्ड

Update: 2023-09-01 11:30 GMT
राजस्थान। अमरूद की बात जब आती है तो राजस्थान के सवाई माधोपुर जिले का नाम सबसे पहले आता है. अभी अलवर जिले में सवाई माधोपुर से पहले पंजाब के अमरूद की आवक हो रही है. यह अमरूद खाने में मीठा होता है. इस अमरूद की खास बात यह होती है कि इसकी शाइन से लोग प्रभावित होकर इसे खरीदते हैं, देखा जाए तो सवाई माधोपुर के अमरूद में ज्यादा बीज होते हैं. वहीं पंजाब से आने वाले अमरूद में बीज न के बराबर होते हैं. जैसे-जैसे पंजाब के अमरूद की आवक बाजार में होगी वैसे-वैसे इसकी मिठास भी बढ़ती जाएगी. अलवर जिले में पंजाब के अमरूद की आवक अगस्त माह में शुरू हो जाती है साथ ही यह अमरुद नवंबर के शुरुआती हफ्ते तक बाजार में चलता है.इसके बाद राजस्थान के सवाई माधोपुर के अमरूद की आवक अलवर मंडी में शुरू हो जाती है. अलवर मंडी में फल विक्रेता चेतराम चौधरी ने बताया कि सवाई माधोपुर के अमरूद की आवक सर्दियों के सीजन में शुरू होती है।
सवाई माधोपुर के अमरूद की पहली खेप अक्टूबर कि दूसरे हफ्ते से शुरू हो जाती है तथा इस समय पंजाब के अमरूद की आवक कम हो जाती है. अभी पंजाब से आ रहा अमरूद लोगों की डिमांड में भी अच्छा है. शाइनिंग के कारण भी अमरूद लोगों को आकर्षित कर रहा है। पंजाब के अमरूद में बीज कम होने के कारण लोग इसे आसानी से खा सकते हैं. साथ ही शुरुआती समय में अभी इसका टेस्ट मीठा है. जैसे-जैसे इसकी आवक मंडी में होती जाएगी वैसे-वैसे इसके टेस्ट की मिठास में भी बढ़ोतरी होगी. पंजाब के अमरूद की आवक अलवर फल मंडी में मात्र तीन माह होती है. चेतराम चौधरी ने बताया कि यह अमरूद और अमरुद से महंगा होता है. अभी इसकी कीमत 65 रुपए किलो चल रही है तो लोकल अलवर से आ रहे छोटे अमरूद की कीमत 30 रुपए किलो चल रही है. कीमत से ज्यादा होने के बाद भी लोग पंजाब से आने वाले अमरुद को खरीद रहे हैं. वैद्य रामदेव के अनुसार अमरूद खाने के शरीर को बहुत फायदे मिलते हैं. अमरूद के सेवन से पेट की समस्याएं दूर होती हैं, साथ ही यह दिल की बीमारी को दूर करने में भी असरदार साबित होता है. रामदेव शर्मा ने बताया कि अमरूद के सेवन से एसिडिटी, कब्ज, गठिया रोग सहित उल्टी और दस्त मे भी आराम मिलता है।
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