शिमला। राज्य में मानसून के प्रकोप के चलते जानमाल के नुक्सान का आंकड़ा बढ़ता ही जा रहा है। 27 दिनों की मानसून अवधि में 131 लोगों की जान चली गई है जबकि 12 लोग लापता हैं और 165 लोग घायल हुए हैं। राज्य को 49.84 अरब का नुक्सान हो चुका है, जिसमें जलशक्ति विभाग को 1440.28, लोक निर्माण विभाग को 1588.60, विद्युत बोर्ड को 1482.72, बागवानी विभाग को 144.88 व अर्बन डिवैल्पमैंट को 6.47 करोड़ का नुकसान हो चुका है। राज्य में भूस्खलन की 61 व बाढ़ आने की 44 घटनाएं घटित हुई हैं। वहीं अभी इंद्रदेव 26 जुलाई तक राहत देने वाले नहीं हैं। 24 जुलाई तक कई क्षेत्रों में भारी से अत्यधिक बारिश, आसमानी बिजली गिरने का यैलो अलर्ट जारी किया गया है।
मौसम विभाग के अनुसार राज्य में पिछले 24 घंटों में अनेक स्थानों पर हल्की से मध्यम वर्षा हुई और शिमला, चम्बा, मंडी, किन्नौर जिलों में अलग-अलग स्थानों पर सड़कें व मकान क्षतिग्रस्त हुए और पेड़ उखड़ गए। लोगों की दुश्वारियां जारी है और राज्य में 5 नैशनल हाईवे और 676 सड़कें बंद हैं। 1138 ट्रांसफार्मर ठप्प चले हैं, जिससे प्रदेश के कई इलाकों में अंधेरा छाया हुआ है। शिमला जिला के कोटखाई में कार पर पेड़ गिरने से एक व्यक्ति की मौत और एक घायल हो गया। किन्नौर जिला के अलावा शिमला के रोहड़ू और रामपुर में भी रातभर भारी बारिश हुई। इससे सांगला के कामरू नाला में बाढ़ की चपेट में आने से कई गाड़ियां क्षतिग्रस्त हो गईं। वहीं ठियोग के शिलारू में भी एनएच-5 लैंडस्लाइड के बाद अवरुद्ध हो गया। शिमला-किन्नौर नैशनल हाईवे-5 भी झाखड़ी के पास भारी बारिश के बाद सड़क बह जाने के बाद बंद पड़ा है। इससे किन्नौर जिले का राजधानी से संपर्क कट गया है।
पहाड़ों पर इस मानसून में सामान्य से 132 प्रतिशत ज्यादा बारिश हो चुकी है। पिछले 24 घंटे के दौरान भी भारी बारिश ने खूब कहर बरपाया है। चम्बा और कुल्लू जिलों में बाढ़ आने पर इसमें बहने से 2 लोगों की मौत हो गई। चम्बा के भटियात क्षेत्र में लोहाली खड्ड पार करते समय कथेट पंचायत के गोथरा गांव निवासी 57 वर्षीय व्यक्ति की मौत हो गई। कुल्लू के बंजार की तलाड़ी खड्ड में नेपाली मूल का 50 वर्षीय व्यक्ति भी पानी के तेज बहाव में बह गया। चम्बा में भारी बारिश के बाद भूस्खलन में 70 से ज्यादा निजी व सरकारी बसें फंसी हुई हैं। प्रदेश के सबसे ज्यादा आपदा प्रभावित कुल्लू जिला के दूरदराज के क्षेत्रों में हैलीकॉप्टर के जरिए खाद्य सामग्री पहुंचाई गई क्योंकि बंजार उपमंडल के दूरस्थ गाड़पारली पंचायत में सड़क कनैक्टिविटी पूरी तरह से कटी हुई है।