छुट्टियों के दौरान अपने दोस्तों और परिवार के सदस्यों के लिए सूवनिर यानी स्मृति चिन्ह की ख़रीददारी सैलानियों के लिए किसी चुनौती से कम नहीं होती. हम यहां सूवनिर की ख़रीददारी के लिए स्मार्ट और काम के टिप्स दे रहे हैं. आप छुट्टियां मना रहे होते हैं, पर दिमाग़ के किसी कोने में हर समय यह चिंता चहलक़दमी करती रहती है कि घर वापसी पर अपनों के लिए क्या ले जाएं. कई बार इसके चलते यात्रा तनावपूर्ण बन जाती है. स्मृति चिन्हों की ख़रीददारी को आसान बनाने के लिए हम कुछ तरीक़े बता रहे हैं. इनका पालन करके न केवल आप समय बचा सकेंगे, बल्कि आपकी जेब की सेहत भी बनी रहेगी.
अच्छे से योजना बनाएं
ख़रीददारी के लिए बाहर निकलने से पहले उस जगह के बारे में अच्छे से रिसर्च कर लें. ऐसा नहीं है कि बेस्ट गिफ़्ट्स आपको सूवनिर शॉप्स में ही मिलेंगे. आपको अपने काम की चीज़ें किसी खानपान से संबंधित दुकान, स्टेशनरी शॉप, क्राफ़्ट सेंटर या सड़क के किनारे लगनेवाले बाज़ार में भी मिल सकती हैं. आप जहां भी जा रहे हों, वहां की स्थानीय भाषा के कुछ आसान-से वाक्य सीख लें. मोलभाव करते समय उनका इस्तेमाल करें. फ़र्क़ आप ख़ुद महसूस कर सकेंगे.
बजट पर टिके रहें
‘मुझे अपने यहां ऐसी चीज़ नहीं मिलेगी’, ‘थोड़े-से ही तो ज़्यादा पैसे लग रहे हैं’, ‘ऐसा मौक़ा जीवन में एक ही बार मिलता है’... इस तरह की बातें आपको अनियंत्रित शॉपिंग के लिए उकसाती हैं. पर छुट्टियां ख़त्म होने के बाद, जब आप अपने क्रेडिट कार्ड का बिल देखेंगे तो आपको अपने फ़ैसले पर पछतावा होगा. हमारी सलाह है कि बाद में दिल जलाने के बजाय अपने बजट पर टिके रहें. जिन लोगों के लिए गिफ़्ट लेना है, उनकी सूची बनाकर रखें. एक-एक करके इस सूची में नाम न बढ़ाते जाएं.
छोटे-छोटे गिफ़्ट्स की बड़ी वाली अहमियत
ज़रूरी नहीं है कि आप महंगे गिफ़्ट्स ख़रीदेंगे तो ही बात बनेगी. अहम् यह होता है कि आप क्या लाते हैं. आप छोटी-छोटी चीज़ें भी उपहार में देकर लोगों का दिल जीत सकते हैं. यह ध्यान में रखें कि वह छोटी-सी चीज़, जो आप ला रहे हों, आपके यहां न मिलती हो.
स्थानीय लोगों की तरह करें ख़रीददारी
यात्रा के दौरान सूवनिर ख़रीदने के लिए अक्सर सैलानी उन्हीं दुकानों का रुख़ करते हैं, जहां बाक़ी सैलानियों का जमावड़ा लगा रहता है. आप उन दुकानों में जाएं, जहां से स्थानीय लोग ख़रीददारी करते हैं. सच तो यह है कि सबसे यादगार और पॉकेटफ्रेंडली चीज़ें ऐसी ही दुकानों पर मिलती हैं. तो अगली बार घूमने जाएं तो स्थानीय बाज़ारों का चक्कर ज़रूर लगाएं.
धैर्य रखें
ज़रूरी नहीं है कि जो चीज़ अभी आपके सामने है, वही बेस्ट है. उससे अच्छी चीज़ भी मिल सकती है. सूवनिर की शॉपिंग यात्रा के अंतिम दिनों में करें, तब तक आपको बाज़ारों का अच्छा अंदाज़ा हो चुका होगा.