नए बजट में टैक्स स्लैब में किए बदलाव कितने फ़ायदेमंद हो सकते हैं

Update: 2023-04-29 16:57 GMT
जहां बजट आने के बाद अलग-अलग इंडस्ट्रीज़ उससे हुए अपने नफ़ा-नुक़सान का आकलन करती हैं. वहीं आम नौकरीपेशा लोग सबसे पहले इस बात की तसल्ली कर लेना चाहते हैं कि उनकी इनकम पर कितना टैक्स लगेगा? वे जानना चाहते हैं, क्या उनकी टैक्स छूट लिमिट को बढ़ाया गया या कुछ नए टैक्स जोड़ दिए गए? इस बार के बजट में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने टैक्स दरों में कुछ बदलाव किए हैं. आइए जानें टैक्स में हुए इस बदलाव के बारे में डीटेल में.
टैक्स स्लैब में किए गए यह बदलाव
इस बार टैक्स स्लैब में निम्न बदलाव देखने मिले.
* पहले ढाई लाख की आय तक कोई टैक्स नहीं लगता था. ढाई से पांच लाख तक की इनकम पर 10% की दर से टैक्स देना होता था. अब पांच लाख तक की इनकम को टैक्स फ्री कर दिया गया है.
* पांच लाख से साढ़े सात लाख तक के वार्षिक इनकम पर पहले 20 प्रतिशत टैक्स देना होता था, जिसे घटाकर अब 10% कर दिया गया है.
* वहीं साढ़े सात लाख से दस लाख तक की सालाना आमदनी पर पहले 20% टैक्स की जगह 15% टैक्स देना होगा.
* 10 लाख से 15 लाख रुपए सालाना आमदनी के लिए पहले 30% टैक्स देना होता था, इस बजट में इसमें भी बदलाव किया गया है. अब 10 से 12.5 लाख तक की इनकम पर 20% टैक्स लगेगा और 12.5 से 15 लाख तक की आमदनी पर 25% टैक्स चुकाना होगा.
* 15 लाख के ऊपर की सालाना कमाई पर पहले की तरह 30% टैक्स देना होगा.
अब से आपके पास रहेंगे टैक्स भरने के दो विकल्प
टैक्स स्लैब में मिली यह छूट के साथ नए बजट में कुछ शर्तें रखी गई हैं. जैसे यदि आप नए टैक्स स्लैब के अनुसार इनकम टैक्स रिटर्न फ़ाइल करना चाहते हैं तो आपको अलग-अलग निवेशों पर मिलनेवाली टैक्स छूटों को छोड़ना होगा. हां, इसका फ़ायदा यह है‌ कि आपको किसी तरह के कैल्क्युलेशन की ज़रूरत नहीं पड़ेगी. आपके लिए इनकम टैक्स भरना आसान हो गया है. अलग नई व्यवस्था के तहत हम पहले स्लैब के बारे में कहें तो अगर आपकी इनकम छह लाख है तो आपको पहले पांच लाख पर कोई टैक्स नहीं देना होगा. वहीं अगले एक लाख पर 10% की दर से 10 हज़ार रुपए बतौर टैक्स भरने होंगे. हाउस रेंट अलॉवेंस, बच्चों की ट्यूशन फ़ीस, प्रोविडेंट फ़ंड, होम लोन पेमेंट आदि पर मिलनेवाली टैक्स छूट आपको नहीं मिलनेवाली है.
यदि आप इनकम टैक्स की‌ विभिन्न धाराओं के तहत मिलनेवाली छूट को बरकरार रखना चाहते हैं तो आपको पुराने तरीक़े से ही इनकम टैक्स भरना होगा.
नए टैक्स स्लैब से किसको फ़ायदा, किसे नुक़सान?
यदि आप बिना किसी निवेश के सीधे अपना इनकम टैक्स कटा रहे थे तो आपके लिए इनकम टैक्स के नए नियम सरल और फ़ायदेमंद साबित होंगे. पर यदि आपने विभिन्न टैक्स फ्री बचत योजनाओं में निवेश कर रखा है, आप हाउसिंग लोन चुका रहे हैं तो कैल्क्युलेशन करके देखें. इसकी काफ़ी संभावना है कि पुराने सिस्टम के साथ जाना आपके लिए फ़ायदेमंद रहेगा.
नए नियम के तहत रिटर्न फ़ाइल करने पर आपको चार्टर्ड अकाउंटेंट्स के पास जाने की ज़रूरत नहीं होगी. पर यदि किसी टैक्स कंसल्टेंट के पास जाकर आपके कुछ हज़ार रुपए बच रहे हैं तो आप पुरानी पद्धति को भी अपना सकते हैं.
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