शिखर का सबक
भाजपा के दिमाग में एक ही बात रहती है कि देश के हर राज्य में एक ही पार्टी की सरकार हो, जिसका नाम भारतीय जनता पार्टी हो। यही कारण है कि आज वह एक के बाद एक हर राज्य में विपक्षी दलों के हर उस किले को ढहाती जा रही है
Written by जनसत्ता: भाजपा के दिमाग में एक ही बात रहती है कि देश के हर राज्य में एक ही पार्टी की सरकार हो, जिसका नाम भारतीय जनता पार्टी हो। यही कारण है कि आज वह एक के बाद एक हर राज्य में विपक्षी दलों के हर उस किले को ढहाती जा रही है, जहां उसकी पार्टी की सरकार नहीं है। इन दिनों हैदराबाद में उसकी कार्यकारिणी की बैठक का जो भी मकसद रहा हो, मगर वह इसी ओर इशारा करता है कि यहां भी उसके इरादे अब स्पष्ट हैं।
इसलिए अब हैदराबाद शीघ्र ही भाग्यनगर बने, यह एजेंडा भी उसने इस बैठक में छेड़ दिया है। कहने की जरूरत नहीं कि पिछले कुछ वर्षों से लगातार भाजपा की लोकप्रियता में इजाफा हो रहा है। यही कारण है कि आज उसकी महत्त्वाकांक्षाएं भी बढ़ती जा रही हैं। जिस भी राज्य में उसको कुछ संभावना नजर आती है, वह वहां बड़े से बड़ा कदम उठाने से नहीं चूकती।
आज इस पार्टी के अब बंगाल, केरल, तमिलनाडु, ओड़ीशा, आंध्र में भी मजबूत संगठन की नींव दिखाई देती है। अत: यह राज्य भी अगले कुछ वर्षों में भाजपा की सरकार की संभावनाएं बनाते दिखते हैं। कहते हैं कि राजनीति में हार-जीत का खेल तभी चल सकता है जब आप की पार्टी का संगठन मजबूत हो।
एक अच्छे जनाधार की पार्टी तभी सशक्त कहलाती है, जब उसका पार्टी का ढांचा भी मजबूत हो। इन्हीं विशेषताओं के चलते आज भाजपा देखते ही देखते विश्व की सबसे बड़ी पार्टी बन गई है। फिर अभी यह पार्टी वंशवाद की बीमारी से भी काफी दूर है।
अत: इसमें भाई भतीजावाद के कीटाणु ज्यादा दिखाई नहीं देते हैं। एक जमाना था जब हमारे देश में कांग्रेस एक बड़ी पार्टी थी तथा उसे देश को आजादी दिलाने वाली पार्टी भी कहा जाता था। पर उसका आज पराभव हो गया उसे भाई भतीजावाद, भ्रष्टाचार ले डूबा। पर कहते हैं कि समय बदलते देर नहीं लगती। आज मतदाता सबक गलत करने में ज्यादा देर नहीं लगाता है।